राज्य शहरी विकास अभिकरण (सूडा) ने प्रधानमंत्री आवास (शहरी) में राशि स्वीकृत होने के बाद भी मकानों का निर्माण नहीं करने वाले हितग्राहियों को योजना से बाहर करने का निर्णय लिया है।
राज्य शहरी विकास अभिकरण (सूडा) ने प्रधानमंत्री आवास (शहरी) में राशि स्वीकृत होने के बाद भी मकानों का निर्माण नहीं करने वाले हितग्राहियों को योजना से बाहर करने का निर्णय लिया है। सूडा के अधिकारियों ने बताया कि केंद्र सरकार के दिशा-निर्देश के बाद यह निर्णय लिया गया है। प्रधानमंत्री आवास योजना (शहरी) के अंतर्गत कई ऐसे नगर-पालिका और नगर-निगम हैं, जिसमें हितग्राहियों ने मकानों का निर्माण शुरू नहीं किया है।
क्या कहते हैं नियम
नियमों के मुताबिक मार्च-2022 के पूर्व स्वीकृत अप्रारंभ आवासों के लिए जून-2023 के बाद किसी प्रकार की राशि उपलब्ध नहीं की जाएगी। सूडा ने नगर पालिक अधिकारियों को फटकार लगाई कि ऐसे प्रकरणों पर अब तक किसी प्रकार की कार्यवाही नहीं की गई है।
भौतिक और वित्तीय प्रगति रिपोर्ट में जानकारी सामने आने के बाद सूडा ने रायपुर, बिरगांव, महासमुंद, गोबरा नवापारा, गरियाबंद, भाटापारा, तिल्दा नेवरा, सरायपाली, बलौदाबाजार, बागबहारा, आरंग, अभनपुर, आमदी, बसना, भखारा, छुरा, फिंगेश्वर, कसडोल, खरोरा, कुंरा, कुरूद, लवन आदि नगर पालिकाओं को दिशा-निर्देश जारी किए हैं।


बैठक से गायब रहने वाले अधिकारियों को कारण बताओ नोटिस
इधर पीएम आवास की समीक्षा बैठक में अनुुपस्थित रहने वाले नगरीय निकायों के अधिकारियों को अब नोटिस जारी किया गया है। नोटिस उनसे पूछा गया है कि प्रधानमंत्री आवास योजना के कार्यों को गंभीरता से नहीं लेना उदासीनता और लापरवाही का प्रतीक है। इसलिए अपना स्पष्टीकरण सात दिन के भीतर प्रस्तुत करें।
राज्य शहरी विकास अभिकरण के मुख्य कार्यपालन अधिकारी ने कसडोल के मुख्य कार्यपालन अधिकारी सचित कुमार साहू, छुरा नगर पंचायत के मुख्य नगर पालिका अधिकारी लालसिंह मरकाम, छुरिया नगर पंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारी सचिन गुप्ता, नगर-निगम धमतरी में पीएम आवास के नोडल अधिकारी विजय खलको, बागबहारा नगर पालिका के मुख्य कार्यपालन अधिकारी भूपेश दीवान सहित आदि नगर पंचायतों के अधिकारियों को नोटिस जारी किया है।