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CG Election 2023: नियमितीकरण, बिजली, पानी के मुद़्दे पर सरकार को घेरेगी भाजपा, सड़क से सदन तक चलेगा आंदोलन

नेता प्रतिपक्ष नारायण चंदेल ने कहा कि प्रदेश में कोल घोटाला, शराब घोटाला, राशन घोटाला आदि को सरकार के खिलाफ अपनी बात रखेंगे।

रायपुर (राज्य ब्यूरो)। छत्तीसगढ़ भाजपा के विधायकों ने चुनावी वर्ष में राज्य सरकार को सदन और सड़क दोनों में घेरने की रणनीति बनाई है। एक तरफ विधायक सदन में सरकार को घेरेंगे वहीं दूसरी ओर सड़क पर भी भाजपा के कार्यकर्ता आंदोलन करने की रणनीति बना रहे हैं।
18 से 21 जुलाई तक चलने वाले मानसून सत्र में सत्तापक्ष-विपक्ष के विधायकों ने 550 प्रश्न लगाए हैं। मुख्य विपक्षी पार्टी भाजपा सरकार के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव लाएगी। इसकी सूचना विधानसभा सचिवालय को भेजी है। भाजपा के विधायक सरकार के खिलाफ आरोप पत्र भी पेश करेंगे। 
नेता प्रतिपक्ष नारायण चंदेल ने कहा कि प्रदेश में कोल घोटाला, शराब घोटाला, राशन घोटाला, रेत घोटाला, भर्ती घोटाला आदि को सरकार के खिलाफ हम तथ्यों के साथ अपनी बात रखेंगे। प्रदेश में पांच साल से नियमितीकरण की राह देख रहे संविदा व अनियमित कर्मचारी हैं। शासकीय कर्मचारियों के लंबित डीए, किसानों के खाद-पानी और बिजली की समस्या आदि को सदन में भाजपा उठाने वाली है।
भूपेश मंत्रिपरिषद में बदलाव पर भाजपा ने घेरा
स्कूल शिक्षा मंत्री डा. प्रेमसाय सिंह टेकाम के इस्तीफे और विधायक मोहन मरकाम को मंत्रिमंडल में शामिल करने को लेकर भाजपा ने कांग्रेस सरकार पर हमला बोला है। पूर्व मुख्यमंत्री डा. रमन सिंह ने कहा कि मोहन मरकाम को प्रदेश अध्यक्ष पद से हटाया गया और एक नया अध्यक्ष बनाया गया। 
अंदरूनी विवाद कम करने के लिए कुछ करना था, तो 100 दिन का मंत्री बना दिया। मरकाम को बड़ा वाला झुनझुना पकड़ा दिया। शराबबंदी पर रमन ने कहा कि कांग्रेस ही बता दे कि किन-किन वादों के लिए गंगाजल उठाया था और किन-किन के लिए नहीं उठाया था।
वहीं, नेता प्रतिपक्ष नारायण चंदेल ने कहा कि कांग्रेस पार्टी में जिस प्रकार का अंतर्विरोध और गुटबाजी सड़कों पर देखने को मिल रही है, यह चरम सीमा है। टेकाम से इस्तीफा लिया जा रहा है।
उन्हें इस्तीफा देने के लिए बाध्य किया जा रहा है।
यह संकेत है कि कि कांग्रेस किन हालातों से गुजर रही है। कांग्रेस में स्वेच्छाचारिता, हिटलरशाही और एकला चलो की नीति की यह परिणति है। यह विधानसभा चुनाव में सत्ता के परिवर्तन का संकेत है। अब कांग्रेस की विदाई तय है और भारतीय जनता पार्टी की सत्ता में वापसी सुनिश्चित है।