रायपुर ….बीरगांव नगर निगम सीमा क्षेत्र के बुधवारी बाजार एकमात्र सार्वजनिक स्थल है , पुरानी पानी टंकी से जनता को हो रही परेशानी को जानते हुए भी निगम प्रशासन महापौर और विधायक पुत्र ने वहां पुनः एक और “पानी टंकी” प्रस्तावित कैसे कर दिया,, बीरगांव के एकमात्र सार्वजनिक जगह को भी समाप्त करने की गंदी सोच को बदलिये और जनहित में सार्वजनिक कार्यक्रमों हेतु बुधवारी बाजार को सुरक्षित रखने का प्रस्ताव पारित कर,, वहां प्रस्तावित पानी टंकी का निर्माण अनयंत्र कराइये !! इस विषय पर सोमवार को छत्तीसगढ़ महतारी अधिकार मंच और बुधवारी बाजार के सब्जी व्यापारियों के साथ ही समर्थन देने पहुंचे भाजपाइयों ने नगर निगम का घेराव करने की कोशिश की साथ ही व्यापक रूप से धरना प्रदर्शन भी किया।।

बीरगांव के “बुधवारी बाजार” एकमात्र एैसा स्थान है जो डेढ़ लाख की आबादी वाले नगर निगम बीरगांव का हृदय स्थल है,, हफ्ते में दो दिन सोमवार और बुधवार को सब्जी बाजार के अलावा इसी “बुधवारी बाजार” में पचासो साल से हर प्रकार के सार्वजनिक कार्यक्रम जैसे- पारिवारिक दुःख, सुख के कार्यक्रम, सामाजिक, धार्मिक, सांस्कृतिक और राजनीतिक कार्यक्रम सभी यहीं इसी बुधवारी बाजार में संपन्न होता है, आपके निगम द्वारा जहां पानी टंकी का निर्माण प्रस्तावित है उसी जगह पर महापौर और विधायक द्वारा रावण दहन कर दशहरा उत्सव मनाया जाता है,, मां दुर्गा, भगवान श्री गणेश जी विराजते है, मां परमेश्वरी का मंदिर है, वार्षिक मंडई होता है, बारात ठहरते है, कबड्डी सहित विभिन्न खेलों का आयोजन होता है, रामकथा, रामायण और भगवतगीता कथा का प्रवचन होता है, विश्वकर्मा जयंती जैसे बडे बडे आयोजन सांस्कृतिक कार्यक्रम के साथ संपन्न होते हैं, उपरोक्त कार्यक्रमों के लिए आलरेडी यह जगह छोटा पडता है,, पार्किंग वगैरह के लिये भी परेशानी होती है, यहां स्थित पुरानी पानी टंकी से टैंकर पानी लेने दिनभर फेरे लगाते हैं जिससे आयोजन में दिक्कत होता है, दुर्घटना का डर भी बना रहता है, पानी टंकी के कारण दर्जनों टैंकर यहां खड़े रहते हैं, जिससे आयोजनकर्ता , आमजनता को परेशानी होती है और पेयजल आपूर्ति भी बाधित होती है,, फिर भी जैसे – तैसे सभी छोटे और बड़े आयोजन यहीं बुधवारी बाजार में ही संपन्न होता आ रहा है, बुधवारी बाजार के अलावा बीरगांव में और कोई सरकारी जगह है ही नहीं , जहां उपरोक्त सार्वजनिक कार्यक्रम संपन्न हो सके,, बुधवारी बाजार स्थित पुराने जर्जर पानी टंकी जिसके टुट टुट कर गिरने से कई बार हादसा हो चुका है उसे ध्वस्त कर अन्यत्र कंही भी बनाने की मांग विभिन्न मंच पर बरसों से की जा रही है ताकि बुधवारी बाजार के क्षेत्रफल को बढाया जा सके।

स्मरण करें – कुछ साल पहले सुलभ शौचालय और मुख्यमंत्री स्वावलम्बन योजना के तहत बुधवारी बाजार में बनने वाले दुकानों को भी मेन रोड के तरफ बनने नही देने बीरगांव वासियों ने जबरदस्त उग्र आंदोलन किया था ताकि बुधवारी बाजार का क्षेत्रफ़ल छोटा ना हो जाए !! आज फिर बुधवारी बाजार में पानी टंकी निर्माण और बाजार में बैठने वालों को दूसरी जगह व्यवस्थापन करने का भारी विरोध छत्तीसगढ़ महतारी अधिकार मंच के बैनर तले अन्य संगठनों के द्वारा सहयोग से सफल हुआ और निगम प्रशासन के खिलाफ आगे भी उग्र लड़ाई लड़ने पर सहमति बनी साथ ही निगम के नाम ज्ञापन सौंपा गया।
प्रमुख रूप से उपस्थित बेदराम साहू पार्षद , एवज देवांगन पार्षद, खेमलाल साहू पार्षद, ओमप्रकाश साहू, राजकुमार साहू, रजत साहू, दुर्गेश साहू, ओमप्रकाश साहू, यशवंत पाटिल, डोमेश देवांगन, नानक चन्द साहू ,रवि ,जीवन साहू, जितेन्द्र,अश्वनी जंघेल, लोकनाथ साहू, विनोद जितेन्द्र यादव, मुन्नी बाई साहू,प्रमिला साहू,मोना मनिकपुरी ,चान्दनी ,सुकरिया क्षेत्री,कैशल्या देवांगन ,रूखमणी आदि हजारो नगरवासी शामिल थे।